भोपाल : प्रदेश में इस वर्ष 2024-25 में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा शासकीय स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को 4 लाख 50 हजार साइकिलें नि:शुल्क वितरित की जा रही हैं। इसके लिये विभागीय बजट में 195 करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है। साइकिल वितरण का कार्य इस वर्ष नवम्बर तक पूरा किया जाने के निर्देश जिला अधिकारियों को दिये गये हैं।
नि:शुल्क साइकिल वितरण योजना में ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले विद्यार्थी, जो सरकारी स्कूलों में कक्षा 6वीं एवं 9वीं में अध्ययनरत हैं तथा वह जिस ग्राम के निवासी हैं, उस ग्राम में शासकीय माध्यमिक और हाई स्कूल संचालित न होने की वजह से विद्यार्थियों को सुविधाजनक तरीके से स्कूल पहुंचने के लिये साइकिल वितरित की जाती हैं। योजना में कक्षा 6वीं एवं 9वीं में प्रवेश लेने पर पात्र विद्यार्थी को साइकिल प्रदान की जा रही है। इसके साथ ही ग्रामीण क्षेत्र में कन्या छात्रावास में अध्ययनरत छात्राएं, जिनकी शाला छात्रावास से 2 किलोमीटर या अधिक दूरी पर है, उन्हें भी नि:शुल्क साइकिल प्रदाय की जा रही है। प्रदेश में वर्ष 2023-24 में इस योजना में 4 लाख 7 हजार विद्यार्थियों को नि:शुल्क साइकिल प्रदाय की गई थी।
पीएमश्री स्कूल नरसिंहपुर में 142 छात्राओं को वितरित की गई साइकिल
नरसिंहपुर जिले के पीएमश्री एमएलबी स्कूल नरसिंहपुर की 142 छात्राओं को नि:शुल्क साइकिल का वितरण किया गया। इन छात्राओं में ग्राम डोंगरगांव की छात्रा सोनम गोंड और कक्षा 9वीं की छात्रा अंकिता साहू, ग्राम पांसी की छात्रा शिवानी मोरिया व ग्राम भरवारा की छात्रा मुस्कान लोधी भी शामिल हैं।
ग्राम डोंगरगांव की छात्रा सोनम गोंड़ का कहना है कि घर से स्कूल दूर है। कभी-कभी बस छूट जाने के कारण समय पर विद्यालय नहीं आ पाती थी। अब शासन द्वारा नि:शुल्क साईकिल मिल जाने से अब वे समय पर स्कूल आ-जा सकेंगी। इसी तरह ग्राम डोंगरगांव की ही छात्रा अंकिता साहू बताती हैं कि वे पीएमश्री एमएलबी स्कूल नरसिंहपुर में कक्षा 9 वीं में अध्ययन करती हैं। उन्हें स्कूल आने-जाने में बहुत परेशानियों का सामना करना पड़ता है। कभी-कभी बस में बहुत ज्यादा भीड़ हो जाने के कारण वे स्कूल नहीं जा पाती हैं। अब नि:शुल्क साईकिल मिल जाने से वे समय पर स्कूल आ-जा सकेंगी और अपनी पढ़ाई में रूकावट नहीं आने देंगी।
ग्राम पांसी की रहने वाली छात्रा शिवानी मोरिया व ग्राम भरवारा की छात्रा मुस्कान लोधी बताती हैं कि कभी-कभी पैसे के अभाव में वे बस का किराया नहीं दे पाती थी। गांव से स्कूल आने-जाने में बहुत समय लग जाता था। इससे उनकी पढ़ाई बाधित हो जाती थी। लेकिन अब साईकिल मिल जाने से वे समय पर स्कूल आ जा सकेंगी और अपनी पढ़ाई बिना किसी रूकावट से कर सकेंगी।