25 मई को गुजरात के राजकोट में दिल दहलाने वाली घटना हुई थी। राजकोट में टीआरपी गेम जोन में आग लग गई थी। आग लगने से 27 लोगों की मौत हो गई थी। 25 मई को आग लगने के बाद अशोक सिंह जडेजा फरार हो गया था। जो कि गेम जोन के छह मालिकों में से एक है। गेम जोन के सह-मालिक अशोक सिंह जडेजा जो कि फरार चल रहा था, उसने बृहस्पतिवार शाम को आत्मसमर्पण कर दिया है। राजकोट के पुलिस आयुक्त ब्रजेश कुमार झा ने शुक्रवार को पुष्टि की कि जडेजा आत्मसमर्पण के बाद अपराध शाखा की हिरासत में है। बता दें कि इस मामले में गिरफ्तारियों की संख्या बढ़कर 10 हो चुकी है।
अशोक सिंह जडेजा से पहले राजकोट पुलिस ने गेम जोन के पांच सह-मालिकों और एक प्रबंधक को गिरफ्तार किया था। उन्होंने राजकोट के टाउन प्लानिंग ऑफिसर (टीपीओ) एम डी सागथिया, सहायक टीपीओ मुकेश मकवाना और गौतम जोशी तथा कलावड़ रोड फायर स्टेशन के पूर्व स्टेशन अधिकारी रोहित विगोरा सहित चार सरकारी अधिकारियों को भी हिरासत में लिया।सह-मालिकों में से एक प्रकाश हिरन त्रासदी के बाद से लापता था। उसका नाम भी एफआईआर में था। जांच के दौरान पता चला कि उस आग में जलकर मर गया था। बता दें कि राजकोट की घटना के बाद राज्य भर में कई गेम जोन और अन्य मनोरंजन केंद्रों को सील कर दिया गया। साथ ही बिना किसी अनुमति के ऐसी सुविधाएं चलाने के लिए मालिकों के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज की गई।